प्रति
श्री मनोहर लाल खट्टर
मुख्यमंत्री , हरियाणा
चंडीगढ़
आदरणीय खट्टर जी ,
सादर नमस्कार ,
मुख्यमंत्री पद ग्रहण करने की हार्दिक बधाई और शुभकामनाएं । जनहित में एक मुद्दा आपके ध्यानार्थ लाना चाहता हूँ । उम्मीद है कि इस दिशा में की जाने वाली उचित कार्रवाई की जानकारी भी उपलब्ध कराई जाएगी ।
इतिहासकारो का मत था कि अंग्रेजी हुकूमत जुल्म के खिलाफ 1857 में बगावत मेरठ में हुई थी। लेकिन गहन शोध से पता चला था कि भारतीय जवानो ने मेरठ से पहले अम्बाला में बगावत का बिगुल बजा दिया था। अंग्रेज फ़ौज ने हज़ारो जवानो को गोलियों से भून दिया था ।
सन् 2007 में 1857 के संग्राम की 150वीं जयंती के अवसर पर देशभर में समारोह आयोजित किए गए । तत्कालीन प्रधानमंत्री स मनमोहन सिंह तथा हरियाणा के तत्कालीन मुख्यमंत्री भूपेन्द्र सिंह हुड्डा की अध्यक्षता में समारोह आयोजित करने के लिए एक समिति का गठन किया गया था और तय किया गया था कि अम्बाला में स्थित राष्ट्रीय राजमार्ग पर एक भव्य स्मारक का निर्माण किया जाए ताकि भविष्य की पीढ़ियों को प्रेरणा मिल सके । इसके लिए बाकायदा डिज़ाइन भी बन गया था और बजट भी मंजूर हो गया था । हालाँकि भूपेन्द्र सिंह हुड्डा को स्वतंत्रता सेनानी का पुत्र होने का गौरव भी प्राप्त है । लेकिन आज तक उक्त स्मारक की नीव तक नहीं रखी गयी है ।
इस मुद्दे को मैने मीडिया के माध्यम से उठाया था तथा हरियाणा की राजनीति पर मेरी पुस्तक गुस्ताखी माफ हरियाणा में भी बाकायदा इसका उल्लेख किया है । भाजपा
विधायक अनिल विज भी इस मामले को विधानसभा में उठाते रहे थे लेकिन हुड्डा इस मुद्दे पर किंकर्तव्यविमूढ़ रहे । उल्लेखनीय है कि हाल ही में हुड्डा की अम्बाला में एक प्रेस कांफ्रेंस में जब पत्रकार एस पी सिंह ने यह मामला उठाया तो हुड्डा भड़क गए और कह दिया कि पूछने के लिए कोई और सवाल नहीं है ।
आप से आग्रह है कि अन्य आवश्यक कार्यों के साथ स्मारक का निर्माण कार्य भी शुरू करवाएँ ।
आदर सहित
पवन कुमार बंसल
निदेशक , सिटीजंस फॉर रिस्पांसिबिलिटी,एकाउंटेबिलिटी एंड, ट्रांसपरेन्सी , नई दिल्ली
सचल दूरभाष - 8882828301